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200 पन्नों के इस डॉक्यूमेंट में कंपनी की प्राइवेसी विजन को लेकर जानकारी दी गई है। एपल के मुताबिक डाटा प्राइवेसी यूजर्स का मौलिक अधिकार है। एपल ने कहा है, ‘हमारा मानना है कि प्राइवेसी इंसान का मौलिक अधिकार है और उस पर उसका पूरी तरह से अधिकार होना चाहिए। इंसान के पास यह अधिकार होना चाहिए कि उसके डाटा का इस्तेमाल कौन-सा एप, किस तरीके से करेगा।’
एपल ने कहा है कि वह अपने यूजर्स की प्राइवेसी और डाटा की सुरक्षा के लिए हार्डवेयर से लेकर सॉफ्टवेयर और सर्विसेज को खासतौर पर डिजाइन किया गया है ताकि यूजर्स की प्राइवेसी हर हाल में सुरक्षित रहे। 200 पन्नों के इस सिक्योरिटी गाइड डॉक्यूमेंट को सात भागों में बांटा गया है जिनमें हार्डवेयर सिक्योरिटी एंड बायोमेट्रिक, सिस्टम सिक्योरिटी, एंक्रिप्शन एंड डाटा प्रोटेक्शन, एप सिक्योरिटी, सर्विस सिक्योरिटी, नेटवर्क सिक्योरिटी और डेवलपर किट सिक्योरिटी एंड सिक्योर डिवाइस मैनेजमेंट शामिल हैं।
डॉक्यूमेंट में कहा गया है कि एपल के पास सिक्योरिटी के लिए अलग से एक टीम है जो कंपनी के सभी प्रोडक्ट की सिक्योरिटी और प्राइवेसी के लिए काम करती है। यह टीम प्रोडक्ट की सिक्योरिटी की जांच करती है। इस टीम को कड़ी ट्रेनिंग दी जाती है। नई सिक्योरिटी गाइड के दायरे में iOS 14.3, iPadOS 14.3, macOS Big Sur 11.1, tvOS 14.3 और watchOS 7.2 आएंगे। एपल की नई सिक्योरिटी गाइड पहले से ही उसके इनहाउस प्रोसेसर Apple M1 पर लागू है।
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