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मूल्य के अनुसार तय होता है टैक्स
यही वजह है कि राजस्थान ने जनवरी के आखिरी में पेट्रोल पर वैट दो प्रतिशत घटाकर 36 प्रतिशत किया। फिर भी वह पेट्रोल की दर 100 रुपये के पार होने से नहीं रोक पाई। कई शहरों में तेल की दरें इस स्तर पर पहुंच रही हैं तो इन पर राज्यों के लगाए अतिरिक्त शुल्क और बढ़ी हुई दरों का भी योगदान है।
अहम बात है कि केंद्र द्वारा करों की गणना बेचे गए तेल की मात्रा के अनुसार हो रही है। इससे केंद्र को यह फायदा होता है कि जब तेल के दाम गिरते हैं, उसकी कमाई पर ज्यादा असर नहीं पड़ता। लेकिन नुकसान यह होता है कि जब तेल के दाम बढ़ते हैं, उसकी कमाई ज्यादा नहीं बढ़ पाती।
केंद्र सरकार
केंद्र हर लीटर पेट्रोल पर 1.40 प्रतिशत एक्साइज ड्यूटी, अतिरिक्त विशेष एक्साइज ड्यूटी 11 रुपये, कृषि व बुनियादी संरचना विकास सेस 2.50 रुपये और अतिरिक्त एक्साइज ड्यूटी के रूप में सड़क व बुनियादी संरचना के लिए 18 रुपये वसूल रही है। यह समस्त राशि पेट्रोल की कीमत से तय होती है।
प्रमुख राज्य इस तरह कर रहे पेट्रोल के बढ़ते दामों में कमाई
- राजस्थान : पेट्रोल पर वैट 33 प्रतिशत, सड़क विकास शुल्क 1500 रुपये प्रति किलो लीटर। डीजल पर वैट 26 प्रतिशत, सड़क विकास शुल्क 1750 रुपये प्रति किलोलीटर।
- आंध्र प्रदेश : पेट्रोल वैट 31 प्रतिशत, चार रुपये प्रति लीटर अतिरिक्त शुल्क। डीजल पर दो 22.25 प्रतिशत वैट।
- मध्य प्रदेश : पेट्रोल पर वैट 33 प्रतिशत, 4.5 रुपये प्रति लीटर अतिरिक्त वैट, एक प्रतिशत सेस, डीजल पर वैट 23 प्रतिशत, 3 रुपये प्रति लीटर अतिरिक्त वैट, एक प्रतिशत सेस।
- महाराष्ट्र : पेट्रोल पर वैट 26 प्रतिशत, 10 रुपये प्रति लीटर अतिरिक्त कर, डीजल में 24 प्रतिशत वैट, 3 रुपये प्रति लीटर अतिरिक्त कर।
- दिल्ली : पेट्रोल पर 30 प्रतिशत वैट। डीजल पर 0.25 रुपये प्रति किलोलीटर वायु परिवेश शुल्क।
- तमिलनाडु : पेट्रोल पर 15 प्रतिशत टैक्स, 13.02 रुपये प्रति लीटर शुल्क। डीजल पर 11 प्रतिशत व 9.62 रुपये शुल्क।
- कर्नाटक : 35 प्रतिशत बिक्री कर पेट्रोल पर। 24 प्रतिशत बिक्री कर डीजल पर।
बता दें वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट भाषण में पेट्रोल, डीजल पर क्रमश 2.5 और 4 रुपये प्रति लीटर की आधारभूत ढांचा एवं विकास सेस लगाने की घोषणा की थी। हालांकि उन्होंने कहा था कि इसका बोझ उपभोक्ताओं पर नहीं पड़ने दिया जाएगा, लेकिन उसके बाद से लगातार दोनों ईंधन के दाम में बढ़ोतरी चल रही है।
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